मारपीट मामले में सोलह वर्षों बाद आया फैसला, दस वर्ष का कारावास
मामला राजपुर थाना के सिसराढ गांव का, जमीनी विवाद में हुई थी जमकर मारपीट




न्यूज विजन । बक्सर
गुरुवार को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश विजेंद्र कुमार ने रैयती जमीनी विवाद में हुई मारपीट मामले में गवाहों के सुनने के बाद आरोपित को दोषी करार देते हुए दस -दस वर्ष सश्रम कारावास के साथ अर्थदंड लगाया है।
अपर लोक अभियोजक शेषनाथ सिंह ने बताया कि 23 फरवरी 2007 को राजपुर थाना क्षेत्र के सिसराड़ गांव में घनश्याम चौबे के रैयती जमीन में बलपूर्वक ट्रैक्टर से रास्ता बना रहे थे। जिसका घनश्याम चौबे द्वारा विरोध किया गया था। जिसके बाद श्री चौबे अपने भतीजा के साथ चारा मशीन से चारा काट रहे थे तबतक गांव के सुरेंद्रनाथ सिंह, निमेष नारायण सिंह, दुर्गेश कुमार सिंह और राहुल कुमार ने गोलबंद होकर हथियार से लैस होकर फायरिंग करने लगे और मारपीट किया गया। जिसमें घनश्याम चौबे भतीजा जयशंकर चौबे, प्रिया कुमारी और पूजा कुमारी जख्मी हो गए खून से लथपथ होकर घटनास्थल पर गिर पड़े तभी गांव के लोग जुट गए और सभी को सदर अस्पताल पहुंचाया गया। जहां घनश्याम चौबे द्वारा चारो के खिलाफ राजपुर थाना में मामला दर्ज कराया था। इसी मामले में पुलिस की चार्जशीट के बाद न्यायाधीश ने सुनवाई करते हुए पर्याप्त साक्ष्य के आधार पर आरोपी को दोषी पाया। घटना के लगभग 16 वर्षो बाद फैसला आया जिसमे सुरेंद्रनाथ सिंह की मृत्यु हो गई। राहुल कुमार को जूवेनाइल में भेज दिया गया। वही न्यायाधीश विजेंद्र कुमार ने दुर्गेश कुमार सिंह, निमेष नारायण सिंह को10-10 वर्ष सश्रम कारावास के साथ 65-65 हजार रुपयों अर्थदंड की सजा सुनाई।









