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खतरे निशान से महज 2.43 मीटर दूर है गंगा, 5 से.मी. की रफ्तार से बढ़ रहा है जलस्तर

न्यूज विजन | बक्सर
गंगा का रौद्र रूप जिलेवासियों को डराने लगा है। तेज गति से बढ़ रहा गंगा का पानी और उफान को देख लोग सकते में आ गये हैं। गंगा के तटीय इलाके व दियारा क्षेत्र के लोग सुरक्षित जगहों पर पलायन करने के मूड में आ गये हैं। बता दें कि पहाड़ी क्षेत्र में हो रही ज़बरदस्त बारिश और मैदानीं इलाके में मानसून की वापसी ने नदियों का जलस्तर बढ़ाना शुरू कर दिया है। गंगा में बढ़ रहे पानी का दबाव सहायक नदियों में भी दिखने लगा है। ठोरा नदी और कर्मनाशा नदी का भी पानी तेजी से बढ़ रहा है। लगातार बढ़ रहे पानी से जिले में बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। धीरे-धीरे गंगा का जलस्तर वार्निंग लेबल की ओर बढ़ने लगा है। शहर स्थित रामरेखा घाट, नाथ बाबा घाट, गोला घााट, सिद्धनाथ घाट समेत अन्य गंगा घाटों की सीढ़ियां एक-एक कर डूबने लगी है वहीं तटीय इलाके में रोपी गई सब्जी फसल का भी नुकसान शुरू हो गया है।

56.89 मीटर पहुंचा गंगा का जलस्तर

केंद्रीय जल आयोग के अनुसार गंगा का जलस्तर वार्निंग लेबल की तरफ बढ़ने लगा है। सीडब्ल्यूसी के कनीय अभियंता प्रशांत चौरसिया ने बताया कि रविवार को सुबह 8 बजे गंगा का जलस्तर 56.61 मीटर दर्ज किया गया था। उस समय गंगा का जलस्तर प्रति घंटे 2 सेंटीमीटर की रफ्तार से बढ़ रहा था। यह गति शाम के 3 बजे तक बरकरार था। लेकिन, 3 बजे के बाद गंगा नदी में पानी बढ़ने की रफ्तार अचानक बढ़ गई। 5 सेंटीमीटर की रफ्तार से गंगा के पानी में बढ़ोतरी शुरू हो गई है। केंद्रीय जल आयोग से मिली जानकारी के अनुसार शाम 5 बजे तक गंगा का जलस्तर 56. 89 मीटर पहुंच गया था। अभी भी पानी बढ़ने की गति 5 सेंटीमीटर प्रति घंटा बनी हुई है।

चेतावनी बिंदु से 2.43 मीटर का रह गया है फासला

बक्सर में गंगा नदी के जलस्तर और चेतावनी बिंदु में 2.43 मीटर का फासला रह गया है। केंद्रीय जल आयोग के अनुसार बक्सर में गंगा का चेतावनी बिंदु 56.32 मीटर है। वहीं शाम पांच बजे तक गंगा का जलस्तर 56.89 मीटर पहुंच गया है। जिस गति से गंगा के जलस्तर में बढ़ोतरी दर्ज की जा रही है।उस हिसाब से चेतावनी बिंदु तक पानी का लेबल पहुंचने में अधिक वक्त नहीं लगेगा। वहीं केंद्रीय जल आयोग, वाराणसी से मिली जानकारी के अनुसार वहां भी 3 से 4 सेंटीमीटर की रफ्तार से पानी में बढ़ोतरी दर्ज की जा रही है। बता दें कि वाराणसी और प्रयागराज में जब भी पानी बढ़ता है उसका असर बहुत जल्द ही बक्सर स्थित गंगा नदी में देखने को मिलने लगता है।

गंगा के तटीय इलाकों में घुसने लगा पानी

गंगा के तटीय इलाकों में पानी घुसने लगा है। चौसा प्रखंड से लेकर बक्सर, ब्रह्मपुर, सिमरी प्रखंड के दर्जनों गांव में बाढ़ से सबसे अधिक नुकसान होता है। सदर प्रखंड के बड़की सारिमपुर से लेकर अहिरौली तक गंगा के कछार पर रोपी गई सब्जी की फसल डूबने लगी है। बड़की सारिमपुर के गणेश चौधरी, मनोज चौधरी, मंझरिया के सुरेंद्र सिंह, अहिरौली के पिंटू चतुर्वेदी, यतींद्र चौबे आदि ने बताया कि बाढ़ के पानी से तट पर की रोपी गई सब्जी फसल का नुकसान होना शुरू हो गया है। नेनुआ, भिंडी, कद्दू, करैला समेत अन्य सब्जी की फसल डूब गई है। इसी तरह से पानी बढ़ता रहा तो ऊंचे और सुरक्षित जगहों पर पलायन करना पड़ेगा। हलांकि, बाढ़ की स्थिति से निपटने के लिए जिला प्रशासन सजग है। जिले के आपदा प्रबंधन समेत अन्य संबंधित अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिया गया है।

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