जबरन भूमि अधिग्रहण हुआ तो होगा देशव्यापी आंदोलन : राकेश टिकैत
चौसा थर्मल पावर प्लांट परिसर में किसान सभा का हुआ आयोजन




न्यूज़ विज़न। बक्सर
जिले के निर्माणाधीन चौसा थर्मल पावर प्लांट परिसर के समीप शनिवार को किसानों के हक और अधिकारों को लेकर एक व्यापक किसान सभा का आयोजन किया गया। इस सभा में देशभर से आए किसान नेताओं और स्थानीय किसानों की भारी भागीदारी देखने को मिली।







सभा को संबोधित करते हुए भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने केंद्र व राज्य सरकार को दो टूक चेतावनी देते हुए कहा कि किसानों की जमीन हड़पने की किसी भी साजिश को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा, बिहार के किसानों को सॉफ्ट टारगेट बनाकर उनकी जमीन छीनी जा रही है। यह एक संगठित षड्यंत्र है, जिसमें बाईपास, हाईवे और विकास परियोजनाओं की आड़ में जबरन अधिग्रहण हो रहा है। हम पहले भी बक्सर आ चुके हैं और अब यह लड़ाई दिल्ली तक जाएगी। टिकैत ने यह भी स्पष्ट किया कि भूमि अधिग्रहण मुफ्त में नहीं होगा और किसानों को उचित मुआवजा, पुनर्वास और सम्मानजनक सुविधा मिलनी ही चाहिए। उन्होंने चेताया कि अगर किसानों के साथ जबरदस्ती की गई, तो देशभर में बड़ा आंदोलन खड़ा किया जाएगा।

सभा में उपस्थित सांसद सुधाकर सिंह ने भी किसानों की मांगों का समर्थन किया। उन्होंने कहा कि जैसे और जगहों पर किसानों को मुआवजा मिला है, वैसे ही बक्सर के किसानों को भी मिलना चाहिए। उन्होंने अधिकारियों को दो दिन का समय देते हुए कहा कि यदि किसानों की समस्याओं का हल नहीं निकला, तो वह आरएनआर से इस्तीफा दे देंगे। प्रभावित किसान मोर्चा के नेता रामप्रवेश ने एनएच-319 परियोजना में किसानों के साथ हुए अन्याय का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा, “रैयतों को चार गुना मुआवजा नहीं मिला। अगर किसी किसान का मकान तोड़ा गया, तो बुलडोजर सबसे पहले किसान नेता के शव के ऊपर से गुजरेगा।”
सभा में अन्य जिलों से आए किसान नेताओं ने भी अपने विचार रखे और किसानों से संगठित होकर संघर्ष को तेज करने का आह्वान किया। अंत में, सभी किसानों ने अपने अधिकारों की रक्षा के लिए संघर्ष को और व्यापक बनाने का संकल्प लिया।

