कलश सह शोभा यात्रा के साथ तीन दिवसीय गायत्री यज्ञ सह विश्वामित्र महोत्सव का हुआ शुभारंभ




न्यूज विजन । बक्सर
तीन दिवसीय गायत्री विश्वामित्र महोत्सव का शुभारंभ शुक्रवार को गायत्री शक्तिपीठ गायत्री नगर में हुआ। इस दौरान सेंट्रल जेल रोड से सैकडों महिला बहनों द्वारा कलश सर पर रखकर नगर में शोभा यात्रा निकाली गई।








सर्वप्रथम पीला वस्त्र पहन रामरेखा घाट से जलभरी कर मुख्य मार्ग से होते हुए हम बदलेंगे- युग बदलेगा हम सुधरेंगे- युग सुधरेगा के नारों से पूरा शहर गूंज रहा था। बच्चे और बच्चियों द्वारा झंडा पताका लेकर नशा विरोधी नारे भी लगाए जा रहे थे। नशा न करना मान लो कहना प्यारे भाई बहना होगी बड़ी खराबी, गीत सब लोगों के अंतर कारण को छू लिया। गायत्री परिवार का यह कार्यक्रम प्रतिवर्ष की तरह 15 से 17 दिसंबर तक आयोजित किया जाता है। यह कार्यक्रम बक्सर के गौरव गरिमा को बढ़ाने वाला कार्यक्रम है।
गायत्री शक्तिपीठ के मुख्य प्रबंध ट्रस्टी रामानंद तिवारी ने बताया कि यह कार्यक्रम विश्वामित्र एवं गायत्री महोत्सव के रूप में गायत्री शक्तिपीठ द्वारा मनाया जाता है। यह धरती विश्वामित्र की तपस्थली है एवं गायत्री की तपोभूमि है इस बात को दुनिया में बताने के लिए गायत्री शक्तिपीठ बक्सर कटिबध्द है। हमारी पहचान विश्वामित्र की तपोभूमि के रूप में है, जिसे जन-जन में पहुंचाने के लिए एवं बक्सर की गौरव गरिमा को बढ़ाने के लिए हम सब इस महोत्सव को हर साल मानते हैं। श्री तिवारी ने बताया की वास्तव में विश्वामित्र महोत्सव या बक्सर महोत्सव गायत्री यज्ञ के रूप में ही मनाया जाना उचित है। क्योंकि विश्वामित्र गायत्री के मंत्र द्रष्टा ऋषि हैं संध्याकालीन सत्र में युग संगीत एवं प्रज्ञा पुराण की कथा द्वारा शांतिकुंज से आए हुए प्रज्ञा पुत्रों ने सबका मन मोह लिया। यह महोत्सव 15,16 एवं 17 तक चलेगा जिसमें 16 को मूर्तियों का दशविध स्नान -श्रृंगार- देव पूजन एवं नौ कुंडीय यज्ञशाला में गायत्री महायज्ञ संपन्न होगा। संध्या समय विराट दीप महायज्ञ होगा 17 दिसंबर को यज्ञ संस्कार एवं संकल्प गोष्ठी के साथ महाप्रसाद लेकर महोत्सव का समापन हो जाएगा।




