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2 से. मी. की रफ्तार से बढ़ने लगा गंगा का जलस्तर, चेतावनी बिंदु से मात्र 2.94 मीटर है दूर

न्यूज विजन | बक्सर
एक बार फिर गंगा नदी सशंकित करने लगी है। गंगा में जारी उफान से लोग सहमे हुए हैं। पूर्व में बाढ़ की विभिषिका झेल चुके जिलेवासी गंगा के रौद्र रूप देख सहमे हुए हैं। कभी कम तो कभी तेज गति से पानी बढ़ रहा है। केंद्रीय जल आयोग के कनीय अभियंता प्रशांत चौरसिया से प्राप्त रिपोर्ट के अनुसार शनिवार को सुबह 8 बजे गंगा का जलस्तर 56.22 मीटर दर्ज किया गया है। वहीं बीते 8 घंटे से गंगा के जलस्तर में 2 सेंमी प्रतिघंटे की रफ्तार से बढ़ोतरी हो रही है। जबकि, शाम 4 बजे गंगा का जलस्तर 56.38 मीटर दर्ज किया गया। अभी गंगा का जलस्तर चेतावनी बिंदु से 2.94 मीटर दूर है। बक्सर में गंगा का चेतावनी बिंदु 59. 32 मीटर है। ऐसे में अभी बाढ़ से कोई खतरा नहीं है, लेकिन गंगा में पानी बढ़ने की रफ्तार नहीं थमने के चलते बाढ़ आने की आशंका से इंकार नहीं किया जा सकता है। धीरे-धीरे गंगा का जलस्तर वार्निंग लेबल की ओर बढ़ रहा है।

15 दिनों से गंगा नदी के जलस्तर में जारी है उतार-चढ़ाव

बीते 15 दिनों से गंगा नदी के जलस्तर में उतार-चढ़ाव जारी है। केंद्रीय जल आयोग के अनुसार 22 जुलाई को सुबह 8 बजे की रिपोर्ट के अनुसार 4 सेंमी प्रति घंटे की रफ्तार से पानी बढ़ रहा था और जलस्तर 54.35 मीटर पर था। 23 जुलाई को गंगा का जलस्तर 55.75 मीटर पहुंच गया था और बढ़ोतरी 2 सेंमी प्रति घंटे की रफ्तार दर्ज की गई। लेकिन 24 जुलाई को पानी बढ़ने की रफ्तार राहत देने वाली है। 1 सेंमी की रफ्तार से पानी बढ़ने लगा था। वहीं सुबह 8 बजे गंगा का जलस्तर 56.14 मीटर पहुंच गया था। वहीं 26 56.460 मीटर जलस्तर दर्ज किया गया। बता दें कि 27 जुलाई से 31 जुलाई तक गंगा के जलस्तर में लगातार गिरावट दर्ज की गई। जबकि, 1 अगस्तर को गंगा का पानी स्थिर हो गया। गंगा का जलस्तर स्थिर तो हुआ पर 2 अगस्त से 4 अगस्त तक कभी तीन घंटे में एक सेंमी तो कभी हर घंटे 1 सेंमी की रफ्तार से पानी में बढ़ोतरी दर्ज की जा रही थी। वहीं 5 अगस्त से 2 सेंमी प्रति घंटे की रफ्तार से पानी बढ़ रहा है।

तटीय इलाकों में मंडराने लगा बाढ़ का खतरा

एक बार फिर से गंगा के तटीय इलाका व दियारा क्षेत्रों में बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। जिले के चौसा प्रखंड से लेकर बक्सर, ब्रह्मपुर, सिमरी समेत अन्य प्रखंड के दर्जनों गांवों में बाढ़ का पानी घुस जाता है। ऐसे में किसानों की खेती चौपट तो होती ही है, जान माल का भी नुकसान होता है। गंगा में जारी उफान को देख इन इलाके लोगों में बाढ़ का डर समा गया है। मंझरिया के रविंद्र सिंह, अहिरौली के गणेश चौधरी, बड़की सारिमपुर के संजय राय आदि ने बताया कि बाढ़ के चलते सब्जी फसलों को काफी नुकसान पहुंचता है। वहीं गोविंदपुर के मुन्ना राय, चौसा के विनोद कुमार ने बताया कि गंगा में पानी बढ़ने से ठोरा व कर्मनाशा नदी में भी दबाव बढ़ने लगा है। हलांकि, गंगा में बढ़ते जलस्तर को देखते हुए जिला प्रशासन पहले से सजग है। आपदा प्रबंधन समेत अन्य संबंधित अधिकारियों को जिलाधिकारी के द्वारा आवश्यक निर्देश दिया गया है। केंद्रीय जल आयोग के अधिकारी गंगा के जलस्तर पर 24 घंटे नजर रख रहे हैं। गंगा में बढ़ते जलस्तर को देख गंगा के तटीय इलाके व दियारा के लोग भी सजग है।

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